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पेपर प्लेट का बिजनेस | Paper Plate Manufacturing business in hindi

अगर आप भी पेपर प्लेट का बिजनेस (Paper plate business) करना चाहते हैं, तो यह लेख बिलकुल आपके लिए ही है। आइए जानें...

Paper plate business : कम लागत में शुरु करें पेपर प्लेट का बिजनेस

dona pattal ka business kaise kare: इन दिनों डिस्पोजल बर्तनों (Paper plates) की मांग दुनिया भर में तेजी से बढ़ी है। शादी-विवाह जैसे आयोजनों में इसकी मांग काफी बढ़ जाती है। अगर आप भी पेपर प्लेट का बिजनेस (Paper plate business) करना चाहते हैं, तो यह लेख बिलकुल आपके लिए ही है। 

कोरोना काल में देश की व्यापारिक हालत में काफी बदलाव आएं हैं, कई व्यापार बंद हुए हैं तो कई ढीले पड़ गए हैं। लेकिन इस समय में जो व्यापार बराबर चलता रहा वह है पेपर प्लेट यानी (डिस्पोजल बर्तन) का व्यापार (dona pattal ka business)। 

जी हां दोस्तों! कोरोना काल में मरीजों के लिए डॉक्टरों नें घर के बर्तनों की बजाय डिस्पोज़ल बर्तन यानि पेपर प्लेट इस्तेमाल करने की सलाह दी थी। इसके अलावा भी पेपर प्लेट का व्यापार 12 महीने चलने वाला व्यापार है, शादी-ब्याह, रेस्ट्रोरेंट, फूड-स्टॉल, कैंटीन, ऑफिस, भंडारा, सामूहिक-भोज, पार्टी और यहां तक की घरों में भी पेपर प्लेट की जरूरत जरूर पड़ती है। 

डिस्पोजल बर्तनों में पेपर के गिलास, पेपर प्लेट, पेपर के दोने, पेपर से बनी छोटी कटोरियां, या सामूहिक भोज में इस्तेमाल होने वाली तस्तरियां सभी शामिल हैं और सभी के मांग बाजार में बराबर है। 

पेपर प्लेट के बिजनेस पर एक नज़र

पेपर प्लेट के बिजनेस पर एक नज़र

अगर आप भी पेपर प्लेट का बिजनेस (Paper plate business) को करने का मन बना रहें हैं तो जाहिर है कि आपको इससे संबंधित सारी जानकारियां होनी चाहिए। 

जैसे- 

  • पेपर प्लेट का व्यापार कैसे शुरु होगा 
  • व्यापार में खर्च कितना आएगा 
  • कौन-कौन सी और कैसी मशीनों की जरूरत होगी 
  • प्लेट बनाने के लिए मटेरियल (कच्चा माल) कहां से लाना होगा 
  • किस कीमत पर बाजार में बिकेगी
  •  व्यापार में पंजीकरण की जरूरत होगी या नहीं 
  • कितना माल बन रहा है और कहां बिकेगा आदि।

तो आइए, इन सवालों को जबाब द रुरल इंडिया के इस लेख में जानें- पेपर प्लेट का बिजनेस कैसे शुरू करें? (How to start Paper Plate Manufacturing business in hindi) 

पेपर प्लेट का बिजनेस कैसे और कहां शुरू करें

पेपर प्लेट के काम (dona pattal ka business) को शुरु करना काफी आसान है और आपके बजट में भी यह आसानी से फिट हो सकता है। इसे करने के लिए किसी लंबी-चौड़ी जमीन या फैक्ट्री की जरूरत नहीं होती है बल्कि यह काम 10 x 10 के एक छोटे कमरे से भी शुरु किया जा सकता है। हालांकी उस कमरे में बिजली की सुविधा होनी जरूरी है। 

पेपर प्लेट बिजनेस के लिए पंजीकरण और लाइसेंस

पेपर प्लेट का व्यापार (dona pattal ka business) भारत में लघु उद्योगों की श्रेणी में आता है, जिसके पंजीकरण के लिए आपको अपनी स्थानीय अथॉरिटी से अनुमति या NOC (No Objection Certificate) लेनी होती है। पेपर प्लेट के व्यापार के लिए आपके ट्रेड लाइसेंस की जरूरत होती है, जिसका आवेदन आप ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों माध्यमों से कर सकते हैं। किसी भी व्यापार को शुरु करने से पहले उसका पंजीकरण कराना बेहद जरूरी होता है, इससे हमें व्यापार को आगे बढ़ाने में मदद मिलती है। साथ ही अगर हमें व्यापार को आगे बढ़ाने के लिए रुपयों की जरूरत होती है तो लाइसेंस की मदद से हम लोन भी आसानी से ले सकते है।

पेपर प्लेट बनाने की प्रक्रिया 

पेपर प्लेट के बिजनेस पर एक नज़र

पेपर प्लेट बनाने के व्यापार में खर्च/लागत  

पेपर प्लेट बनाने के इस काम में कितना खर्च आएगा यह मशीनों पर निर्भर करता है, क्योंकि पेपर प्लेट बनाने के लिए बाजार में मैन्युअल (हाथ से चलने वाली मशीनें) और ऑटोमेटिक दोनों तरह की मशीनें मौजूद हैं। अगर आप 20 से 25 हजार रुपए से यह व्यापार शुरु करना चाहते हैं तो आप मैन्युअल मशीन खरीदकर काम शुरु कर सकते हैं। इसके अलावा अगर आप चाहते हैं कि कम समय में ज्यादा सामान बनाकर ज्यादा मुनाफा कमाएं तो आपको 40 से 50 हजार रुपए की लागत वाली ऑटोमेटिक मशीन लेनी चाहिए। मैन्युअल मशीन को आपको समय-समय पर अपने हाथों से सेट करना होता है और क्योंकि यह सिंगल डाई होती है तो इसमें एक बार में एक ही तरह का सामान (प्लेट या कटोरी) बनता है। जबकि ऑटोमेटिक मशीन डबल डाई होती है यानी यह एक बार में दो सामान बना सकती है और अपना काम खुद करके आपका समय बचाती है। 

प्लेट बनाने के लिए कच्चा माल (मटेरियल) की जानकारी 

पेपर से बर्तन बनाने के लिए आपको पेपर शीट के रोल की जरूरत होती है, ये रोल्स अलग-अलग डिजाइन में और अलग-अलग क्वालिटी में आते हैं। इन रोल्स के डिजाइन और क्वालिटी के हिसाब से ही इनकी कीमत होती है। यह पेपर शीट रोल आपको कम से कम 30 से 40 रुपए प्रति किलोग्राम के हिसाब से मिल जाता है और एक किलोग्राम में आप आराम से 100 पीस बना सकते हैं।

पेपर प्लेट बिजनेस में लागत और मुनाफा

पेपर प्लेट बनाने का व्यापार (dona pattal ka business) आप दो सूरतों में शुरु कर सकते हैं, पहला थोक विक्रेता और दूसरा रिटेल यानी खुदरा विक्रेता। थोक विक्रेता के तौर पर आपको दुकानदारों को अपना माल बेचना होगा और दूसरी ओर अगर आप रिटेल विक्रेता बनते हैं तो आप अपने बने माल को बाजार की न्यूनतम कीमत पर बेच सकते हैं। लागत के हिसाब से अगर मुनाफे की बात की जाए तो एक पेपर रोल आपको 40 से 50 रुपए प्रति किलोग्राम में मिलता है और एक किलोग्राम में आप लगभग 100 पीस बना सकते हैं। लागत के हिसाब से एक प्लेट की कीमत 80 पैसे की पड़ती है और थोक की कीमत के हिसाब से 100 प्लेट्स के एक पैकेट की कीमत 80 रुपए होती है।

आप अपना सामान रिटेल में बेचना चाहते हैं तो एक रुपए प्रति पीस पर बेच सकते हैं। अगर आप 2-3 क्वालिटी का सामान बना रहे हैं तो उसे अपनी लागत के हिसाब से और बाजार की कीमत पर बेच सकते हैं।

डिस्पोजल बर्तनों (पेपर प्लेट) की मांग

पेपर प्लेट (dona pattal) का बाजार बहुत ज्यादा फैला हुआ है, यह केवल एक, दो या तीन क्षेत्रों तक सीमित नहीं हैं। घरों से लेकर दफ्तरों तक डिसपोजल्स की बराबर रूप से मांग है। नुक्कड पर खड़ा पकौड़े वाला हो या फैंसी रेस्टोरेंट, सभी अपनी खाद्य सामग्रियों को परोसने के लिए पेपर प्लेट का इस्तेमाल करते हैं।

इसके अलावा शादी-ब्याह, जन्मदिन की पार्टी, सामूहिक भोज, आदि में डिस्पोजल बर्तनों की जरूरत पड़ती है। इनमें इस्तेमाल होने के लिए बर्तन ज्यादातर  रिटेल विक्रेताओं से खरीदे जाते हैं। रिटेल विक्रेता वे होते हैं जिन्हें आप बर्तन बनाकर थोक में बेचते हैं।

ये तो थी पेपर प्लेट का बिजनेस (dona pattal ka business) से जुड़ी जानकारी। लेकिन, The Rural India पर आपको कृषि, मशीनीकरण, सरकारी योजना और ग्रामीण विकास जैसे मुद्दों पर भी कई महत्वपूर्ण ब्लॉग्स मिलेंगे, जिनको पढ़कर अपना ज्ञान बढ़ा सकते हैं और दूसरों को भी इन्हें पढ़ने के लिए प्रेरित कर सकते हैं।

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